संयुक्त राष्ट्र (यूएन) प्रमुख एंटोनियो गुटेरेस ने मंगलवार को यमन के हूती विद्रोहियों से कड़ा आह्वान किया है कि वे हिरासत में लिए गए संयुक्त राष्ट्र कर्मियों पर मुकदमा न चलाएं. महासचिव ने जोर दिया कि हूतियों को संयुक्त राष्ट्र, विदेशी एजेंसियों और मिशनों के सभी हिरासत में लिए गए कर्मचारियों को तुरंत रिहा करने के लिए काम करना चाहिए.
संयुक्त राष्ट्र प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने बताया कि महासचिव ने संयुक्त राष्ट्र कर्मियों को हूतियों की विशेष आपराधिक अदालत में भेजे जाने की निंदा की है. उन्होंने संयुक्त राष्ट्र कर्मचारियों की हिरासत को अंतर्राष्ट्रीय कानून का उल्लंघन बताया है.
विदेशी सरकारों के लिए जासूसी के आरोप
दुजारिक ने कहा कि हिरासत में लिए गए कई कर्मियों को यमन की राजधानी सना स्थित आपराधिक अदालत में भेज दिया गया है. उन्होंने कहा, "मेरा मानना है, आज अदालत में प्रक्रिया चल रही थी और यह सब हमारे लिए बहुत चिंताजनक है."
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दोषी ठहराना: नवंबर के अंत में, अदालत ने 17 लोगों को विदेशी सरकारों के लिए जासूसी करने का दोषी ठहराया था. यह कार्रवाई विदेशी संगठनों के लिए काम करने वाले यमनी कर्मचारियों पर वर्षों से चल रही हूती कार्रवाई का एक हिस्सा थी.
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सजा: हूती द्वारा संचालित सबा समाचार एजेंसी के अनुसार, अदालत ने कहा कि ये 17 लोग अमेरिकी, इजराइली और सऊदी खुफिया एजेंसियों से जुड़े एक जासूसी नेटवर्क के भीतर जासूसी प्रकोष्ठों का हिस्सा थे. उन्हें सार्वजनिक रूप से फायरिंग दस्ते द्वारा मौत की सज़ा सुनाई गई थी. हालांकि, उनके वकीलों ने कहा है कि इस सजा के खिलाफ अपील की जा सकती है.
"गंभीर मानवाधिकार हिंसा"
संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार प्रमुख वोल्कर तुर्क ने मंगलवार को एक बयान में कहा कि अदालत में भेजे गए लोगों में से एक उनके कार्यालय का कर्मचारी था. उन्होंने कहा कि उनके सहकर्मी, जिन्हें नवंबर 2021 से हिरासत में रखा गया है, को उनके काम से जुड़े जासूसी के मनगढ़ंत आरोपों में तथाकथित अदालत में पेश किया गया था.
तुर्क ने इस पूरी प्रक्रिया को पूरी तरह से अस्वीकार्य और एक गंभीर मानवाधिकार हिंसा करार दिया.
दुजारिक ने बताया कि कुछ बंदियों को असहनीय परिस्थितियों में रखा गया है और उनके कार्यालय को कई कर्मचारियों के साथ दुर्व्यवहार की बेहद चिंताजनक रिपोर्टें मिली हैं. उन्होंने कहा कि कुछ लोगों को वर्षों से बिना किसी संपर्क (Incommunicado) के रखा गया है.
हूतियों के साथ लगातार संपर्क
संयुक्त राष्ट्र हूतियों के साथ लगातार संपर्क में है. दुजारिक ने बताया कि महासचिव और अन्य यूएन अधिकारियों ने भी ईरान, सऊदी अरब, ओमान और अन्य देशों के समक्ष बंदियों का मुद्दा उठाया है, जो क्षेत्र में प्रभाव रखते हैं.
हूतियों ने 2014 में सना पर कब्ज़ा कर लिया था और तब से वे यमन की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त सरकार के साथ गृहयुद्ध में उलझे हुए हैं, जिसे सऊदी अरब के नेतृत्व वाले सैन्य गठबंधन का समर्थन प्राप्त है. नवंबर का फैसला, हूतियों द्वारा अपने नियंत्रण वाले यमन के क्षेत्रों में की जा रही दमनकारी कार्रवाई की कड़ी में नवीनतम कदम था. उन्होंने गृहयुद्ध के दौरान हजारों लोगों को जेल में डाल दिया है.