रांची न्यूज डेस्क: झारखंड में सड़क सुरक्षा को लेकर लगातार कोशिशों के बावजूद सड़क दुर्घटनाओं में कमी नहीं आई है। राज्य में सबसे अधिक हादसे रांची में हो रहे हैं। केवल जुलाई महीने में ही राज्य में सड़क हादसों में कुल 280 लोगों की मौत हुई, जिनमें से रांची में 39, हजारीबाग में 28, सरायकेला में 26, दुमका में 21 और गिरिडीह में 19 लोग अपनी जान गंवा बैठे। यह जानकारी पुलिस मुख्यालय में शुक्रवार को सड़क सुरक्षा पर डेटा साझा करते हुए झारखंड पुलिस के आइजी अभियान सह प्रवक्ता ने दी।
अगस्त महीने में भी राज्य में कई बड़ी दुर्घटनाएं हुई हैं। रांची में दो ऐसी घटनाएं हुईं, जिन्होंने पूरे राज्य का ध्यान खींचा। पहली घटना 10 अगस्त को भाजपा कार्यालय के पास हुई, जिसमें अनियंत्रित कार ने एक ही परिवार के तीन सदस्यों की जान ले ली। दूसरी घटना शुक्रवार को हुई, जिसमें मां-बेटी की मौत हो गई।
राज्य में सड़क दुर्घटनाओं को रोकने और मृत्यु दर कम करने के लिए सड़क सुरक्षा अभियान, यातायात व्यवस्था में सुधार, स्कूल, कालेज, शहर और बाजार में जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं। पुलिस ब्लैक स्पॉट की पहचान और सुधार, एमवी-1 व एमवी-2 के तहत कार्रवाई, सुप्रीम कोर्ट रोड सेफ्टी कमेटी के निर्देशों का पालन कर रही है। इसके अलावा पुलिस फर्स्ट एड किट, जीपीएस मैप कैमरा लाइट एप, ईडीएआर (ई-विस्तृत दुर्घटना रिपोर्ट) और आइआरएडी (एकीकृत सड़क दुर्घटना डेटाबेस) का उपयोग कर रही है।
जुलाई महीने में पुलिस ने 94,823 लोगों को जागरूक किया। 267 पुलिस अधिकारियों-कर्मियों को फर्स्ट एड किट का प्रशिक्षण दिया गया। 288 अधिकारियों-कर्मियों के मोबाइल में जीपीएस मैप कैमरा लाइट एप इंस्टाल किया गया। 1,284 अधिकारियों-कर्मियों को ईडीएआर और आइआरएडी प्रशिक्षण प्रदान किया गया।
सड़क सुरक्षा उल्लंघनों पर भी सख्ती बरती गई। बिना हेलमेट के दोपहिया वाहन चलाने वाले 1,21,950 वाहन चालकों पर कार्रवाई, बिना ड्राइविंग लाइसेंस के 2,499 वाहन चालकों पर कार्रवाई, तेज़ रफ्तार में वाहन चलाने वाले 2,515 चालक, सिग्नल तोड़ने वाले 1,776 वाहन चालक, मोबाइल फोन का इस्तेमाल करने वाले 276 चालक, गलत दिशा में वाहन चलाने वाले 220 चालक, नशे में वाहन चलाने वाले 185 लोग और बिना सीट बेल्ट के 1,585 वाहन चालक को नोटिस दिया गया। इसके अलावा दोपहिया वाहन पर पीछे बैठे 2,093 यात्रियों के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाई की गई।